चैंपियन के मुकदमे से घटी जानलेवा हमले की धारा, कल-परसो तक मिल सकती है जमानत, पुलिस की मुस्तैदी से टली महापंचायत..
सुबह से ही पुलिस ने जिले की सीमाओं पर संभाला मोर्चा, कोर्ट की तरफ लगी रही सबकी निगाहें, एसएसपी की दो टूक, जिले का लॉ एंड ऑर्डर सर्वोपरि
पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: विधायक उमेश कुमार के कार्यालय पर हुए गोलीकांड मामले में जेल भेजे गए पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन को जिला अदालत से राहत मिलने की उम्मीद बढ़ गई है।
दरअसल, पुलिस ने मुकदमे से जानलेवा हमले की धारा हटा ली है। इस संबंध में विवेचक की ओर से सीजेएम कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया गया है। हालांकि, कोर्ट ने इस प्रार्थना पत्र पर अभी फैसला सुरक्षित रख लिया है। इससे पहले चैंपियन के अधिवक्ताओं की ओर से दाखिल किया गया जमानत प्रार्थना पत्र कुछ देर बाद नोट प्रेस, यानि वापस ले लिया गया।
माना जा रहा है कि विवेचक के प्रार्थना पत्र पर कोर्ट का फैसला आने के बाद दोबारा जमानत प्रार्थना पत्र दाखिल किया जाएगा। यह भी माना जा रहा है कि चैंपियन को एक दो दिन में जमानत मिल सकती है।
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सीमाओं से लेकर पूरे देहात तक पुलिस सतर्क……..पड़ोस जिला सहारनपुर के गांव मिरकपुर निवासी गुर्जर समाज के कुछ नेताओं की ओर से पांच फरवरी को महापंचायत का ऐलान किया गया था। लेकिन समाज के युवाओं ने महापंचायत का बहिष्कार कर दिया था। जिसके बाद आयोजकों ने महापंचायत स्थगित करने की घोषणा कर दी थी। लेकिन पिछली महापंचायतें स्थगित होने के बावजूद भीड़ जुटने की घटनाओं से सबक लेते हुए पुलिस ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए। पुलिस कप्तान प्रमेंद्र डोबाल के निर्देश पर सुबह से ही जिले की सीमाओं पर नाकेबंदी कर दी गई थी। पूरे क्षेत्र को दो सुपर जोन व सात जोन बनाते हुए एसपी, डिप्टी एसपी, इंस्पेक्टर व सब इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारी तैनात किए गए। पुलिस ने चेकिंग करते हुए पूरे देहात क्षेत्र में सक्रियता बनाए रखी। नतीजतन समर्थकों की भीड़ नहीं जुट सकी और शांति व्यवस्था कायम रही। एसएसपी प्रमेंद्र डोबाल ने बताया कि पुलिस के लिए जिले का लॉ एंड आर्डर सर्वोपरि है। इसके लिए हर संभव प्रयास जारी है। बिना अनुमति महापंचायत का आयोजन रोकने के लिए पहले से ही पूरी व्यवस्था की गई थी। सभी वर्गों और आमजन से अपील है कि शांति व्यवस्था बनाए रखने में अपना-अपना सकारात्मक सहयोग दें।