सिडकुल में भ्र्ष्टाचार, स्थानीय युवाओं को नहीं मिल रहा रोजगार, सुराज सेवादल ने उठाए सवाल..
बाहरी व्यक्तियों को लीज देने का आरोप, दूसरे प्रदेशों से आये अफसरों की संपत्ति की सीबीआई जांच की मांग की तैयारी..
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पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: सिडकुल प्रशासन पर स्थानीय युवाओं के रोजगार के अधिकारों की अनदेखी और बाहरी व्यक्तियों को लीज पर भूमि देने के गंभीर आरोप लगे हैं। सुराज सेवा दल अध्यक्ष रमेश जोशी ने इस सम्बंध में निदेशक, सिडकुल को पत्र दिया है। जिसमें आरोप लगाया गया है कि उत्तराखंड सरकार द्वारा संचालित सिडकुल (राज्य औद्योगिक विकास निगम) के अंतर्गत आने वाली 1000 से अधिक फैक्ट्रियों को विभिन्न सुविधाएं दी जा रही हैं, लेकिन राज्य के युवाओं को रोजगार देने के मामले में उदासीनता बरती जा रही है।रोजगार के नियमों की अनदेखी…..
उत्तराखंड सरकार के नियमों के अनुसार, राज्य में स्थापित औद्योगिक इकाइयों को 70% रोजगार स्थानीय युवाओं को देना अनिवार्य है। लेकिन रमेश जोशी का आरोप है कि सिडकुल प्रशासन इस नियम का पालन नहीं करवा रहा है। उन्होंने सवाल उठाया कि जब इन कंपनियों को राज्य सरकार से सभी सुविधाएं मिल रही हैं, तो उन्हें स्थानीय युवाओं को रोजगार दिए बिना एनओसी (अनापत्ति प्रमाण पत्र) कैसे दिया जा रहा है…?
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बाहरी व्यक्तियों को लीज पर जमीन देने का मुद्दा…..पत्र में यह भी आरोप लगाया गया है कि सिडकुल प्रशासन बाहरी प्रदेशों के लोगों को जमीन लीज पर दे रहा है, जिससे उत्तराखंड के स्थानीय उद्यमियों के लिए कारोबार करने के अवसर सीमित हो रहे हैं। रमेश जोशी ने मांग की है कि सिडकुल प्रशासन ऐसे नियम बनाए जिससे राज्य के उद्यमी भी औद्योगिक क्षेत्रों में अपनी इकाइयां स्थापित कर सकें।
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सुराज सेवा दल की आंदोलन की चेतावनी…..
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अगर सिडकुल प्रशासन ने इन अनियमितताओं पर ध्यान नहीं दिया, तो सुराज सेवा दल प्रदेशव्यापी आंदोलन शुरू करेगा। साथ ही, बाहरी प्रदेशों से आए अधिकारियों की संपत्ति और आय की सीबीआई जांच की मांग की जाएगी, क्योंकि विजिलेंस विभाग बाहरी राज्यों में जाकर जांच नहीं कर सकता।
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प्रशासन पर उठ रहे सवाल…..यह मामला प्रदेश के युवाओं के भविष्य से जुड़ा हुआ है, ऐसे में सरकार और प्रशासन पर सवाल उठने लगे हैं। क्या सिडकुल प्रशासन उद्योगपतियों को लाभ पहुंचाने के लिए स्थानीय युवाओं के रोजगार के अधिकारों को नजरअंदाज कर रहा है? अगर हां, तो सरकार इस पर क्या कार्रवाई करेगी.? प्रदेश के युवाओं और स्थानीय उद्यमियों की नजर अब सरकार और सिडकुल प्रशासन की आगामी कार्यवाही पर टिकी हुई है।