पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: पतंगबाजी की खुशी कभी-कभी खतरनाक साबित हो सकती है, और इसका ताजा उदाहरण हरिद्वार में बसंत पंचमी के अवसर पर देखने को मिला। ज्वालापुर क्षेत्र में देसी मांझे की चपेट में आने से एक बाइक सवार गंभीर रूप से घायल हो गया। प्रशासन पहले ही चाइनीज मांझे पर कार्रवाई कर रहा है, लेकिन अब देसी मांझे ने भी खतरे की घंटी बजा दी है।जानकारी के अनुसार, नजीबाबाद बिजनौर निवासी नरेश कुमार, जो सिडकुल की एक फैक्ट्री में कार्यरत हैं और ज्वालापुर के धीरवाली क्षेत्र में किराए पर रहते हैं, रविवार को बसंत पंचमी के दिन किसी काम से बाइक से निकले थे। इसी दौरान एक पतंग का मांझा उनकी गर्दन में उलझ गया और तेज धार के कारण उनकी गर्दन पर गहरा घाव हो गया। राहगीरों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी, जिसके बाद चेतक पुलिसकर्मी मौके पर पहुंचे और नरेश को जिला अस्पताल पहुंचाया। हालत गंभीर होने के चलते उन्हें हायर सेंटर रेफर किया गया है।
—————————————
चाइनीज मांझे पर पहले से रोक, अब देसी मांझा भी बना खतरा…..हरिद्वार पुलिस और प्रशासन लंबे समय से चाइनीज मांझे पर सख्त कार्रवाई कर रहा है। नायलॉन और मैटेलिक पाउडर से बने इस खतरनाक मांझे पर प्रतिबंध के बावजूद इसकी चोरी-छिपे बिक्री और उपयोग की घटनाएं सामने आती रहती हैं। बीते दिनों हरिद्वार के कनखल क्षेत्र में चाइनीज मांझे से एक बाइक सवार की मौत हो गई थी। अब जब देसी मांझे से भी दुर्घटनाएं हो रही हैं, तो प्रशासन के लिए यह एक नई चुनौती बन गई है।
—————————————
क्या कहती है पुलिस…?इस घटना को लेकर कोतवाली प्रभारी प्रदीप बिष्ट ने बताया कि प्रारंभिक जांच में नरेश की गर्दन पर जो चोट आई है, वह देसी मांझे के कारण हुई है। मामले की जांच जारी है और यदि कोई लापरवाही पाई जाती है, तो संबंधित लोगों पर कार्रवाई की जाएगी।
—————————————
पतंगबाजी के दौरान बरतें ये सावधानियां….1:- चाइनीज मांझे का इस्तेमाल बिल्कुल न करें—यह न केवल खतरनाक है बल्कि कानूनन भी अपराध है।
2:- मोटे और धारदार मांझे से बचें—हल्के और सुरक्षित मांझे का उपयोग करें।
3:- खुली जगह पर पतंग उड़ाएं—भीड़भाड़ वाले इलाकों में पतंगबाजी से बचें।
4:- बाइक और वाहन चालकों को सतर्क रहना जरूरी—पतंगबाजी के दौरान हेलमेट और गले को कवर करने वाले कपड़े पहनें।बसंत पंचमी का त्यौहार उल्लास और उमंग से भरपूर होता है, लेकिन पतंगबाजी की लापरवाही जानलेवा साबित हो सकती है। प्रशासन की सख्ती के बावजूद यदि लोग सतर्क नहीं रहते, तो चाइनीज ही नहीं, देसी मांझा भी जानलेवा साबित हो सकता है। जरूरत है कि लोग खुद जागरूक हों और दूसरों को भी सतर्क करें, ताकि खुशियों का यह त्यौहार किसी के लिए मातम न बने।