
पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: प्राइवेट हॉस्पिटलों की कमीशनखोरी के खेल में मरीज को कैसे जाल में फंसाकर हलाल किया जाता है, इसकी बानगी कनखल क्षेत्र में सामने आई। कनखल के एक धर्मार्थ अस्पताल से एक मरीज को डाक्टर ने गंभीर हालत में जौलीग्रांट रैफर किया। लेकिन एंबुलेंस चालक व एजेंट बताया जा रहा एक युवक मरीज को जौलीग्रांट के बजाय देहरादून के प्राइवेट हॉस्पिटल लेकर पहुंच गए। हैरानी की बात यह है कि एंबुलेंस चालक के साथ युवक भी एंबुलेंस में सवार होकर देहरादून पहुंचा। जानकारी मिलने पर रैफर करने वाले डॉक्टर ने इस पर कड़ी आपत्ति जताई। इस पर चालक व उसका साथी डाक्टर से ही भिड़ गए। पुलिस ने अस्पताल पहुंचकर हंगामा शांत कराया। अब पुलिस पूरे मामले की छानबीन में जुटी है।
पुलिस के मुताबिक, कनखल के एक संस्थागत अस्पताल से डाक्टर ने मरीज को जौलीग्रांट स्थित हिमालयन अस्पताल रैफर किया था। अस्पताल से ही मरीज को एंबुलेंस में रवाना किया गया। आरोप है कि एक युवक अस्पताल से ही एंबुलेंस में सवार हुआ और मरीज को जौलीग्रांट के बजाय देहरादून के एक प्राइवेट अस्पताल में ले जाकर भर्ती करा दिया। मरीज के परिजनों से यह बात पता चलने पर डाक्टर ने कड़ी आपत्ति जताई। एंबुलेंस चालक ने अपने साथी को भी बुला लिया। डाक्टर और उनके बीच नोंक झोंक होने पर युवक के साथी भी अस्पताल पहुंच गए। हंगामे की सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और घटना की जानकारी ली। बताया जा रहा है कि देहरादून में कुछ दिन पहले ही नया हॉस्पिटल खुला है। एंबुलेंस चालक का साथी अस्पताल प्रबंधन के संपर्क है। वहीं, पुलिस को पता चला है कि यहां से रैफर होने वाले मरीज के परिजनों को भ्रमित कर प्राइवेट अस्पतालों में भर्ती कराने के लिए फंसाया जाता है। इस मामले में डाक्टर ने भी पुलिस को तहरीर दी है। इंस्पेक्टर कनखल मुकेश चौहान ने बताया कि इस पूरे मामले की जांच कराई जा रही है। मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जाएगी।