पंच 👊🏻 नामा ब्यूरो
हरिद्वार: फर्जी वसीयत के आधार पर ज्वालापुर के एक निजी मकान को मस्जिद बताकर फर्जीवाड़ा करने वाले सहारनपुर निवासी “फर्जी मुतवल्ली की जमानत अर्जी कोर्ट ने खारिज कर दी है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार कोतवाली ज्वालापुर क्षेत्र अंतर्गत मोहल्ला कैथवाडा ज्वालापुर निवासी जावेद आलम ने 20 मार्च 2021 को आरोपी अब्दुल हफीज निवासी सहारनपुर व उसके बेटों मुस्तफा उर्फ मुन्ना व मुज्तबा उर्फ हीरो के खिलाफ ज्वालापुर कोतवाली में एक रिपोर्ट दर्ज कराई थी। जिसमें बताया गया था कि उसके भाई के नाम मकान को अब्दुल हफीज ने एक वसीयत में मस्जिद दर्शाते हुए अपने आपको उसका मुतवल्ली बताया और रजिस्ट्रेशन कराने के लिए उत्तराखंड वक्फ बोर्ड में आवेदन किया था। पुलिस ने तहरीर के आधार पर रिपोर्ट दर्ज कर छानबीन की और पर्याप्त साक्ष्य पाते हुए बीते 27 अक्टूबर को आरोपी अब्दुल हफीज को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।
अब्दुल हफीज के अधिवक्ता प्रवीण कुमार ने मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष अब्दुल हफीज का जमानत प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया था। जिसमें कहा गया कि उसे झूठा फंसाया गया है। वहीं, अभियोजन अधिकारी रिंकू वर्मा ने न्यायालय को बताया कि अब्दुल हफीज ने मकान को मस्जिद दर्शा कर उसका रजिस्ट्रेशन कराने के लिए वक्फ बोर्ड में आवेदन किया था। जबकि मौके पर मकान बना हुआ है ना कि मस्जिद और अपराध गंभीर प्रकृति का है। वादी जावेद के अधिवक्ता दिनेश वर्मा ने भी जमानत प्रार्थना पत्र का विरोध करते हुए जमानत निरस्त करने की प्रार्थना की। दोनों पक्षों के तर्को को सुनकर अपराध की गंभीरता को देखते हुए मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट मुकेश चंद आर्य ने आरोपी अब्दुल हफीज की जमानत निरस्त कर दी।