हरिद्वार

“दिल्ली ब्लास्ट के बाद बढ़ी चौकसी, हरकी पैड़ी पर मॉक ड्रिल, तीन पहलुओं पर परखी गई हरिद्वार पुलिस की तैयारियां..

पुलिस व सुरक्षा टीमों ने सूचना मिलते ही संभाला मोर्चा, चंद मिनट में खाली हुए घाट, बेहतर रहा रिस्पांस टाइम..

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पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: दिल्ली में हुए हालिया विस्फोट के बाद जारी सुरक्षा अलर्ट के बीच गुरुवार को वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र डोबाल के निर्देश पर हरिद्वार के अति संवेदनशील हर की पैड़ी क्षेत्र में पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने व्यापक मॉक ड्रिल का अभ्यास किया गया। ड्रिल के माध्यम से संभावित आतंकी खतरे की स्थिति में पुलिस, पीएसी, बम स्क्वॉड और एटीएस के रिस्पांस टाइम और समन्वय को परखा गया।तीन अलग-अलग आपदा परिदृश्य बनाए गए…..
मॉक ड्रिल में एक साथ तीन घटनाओं को दर्शाया गया। पहले परिदृश्य में हर की पैड़ी पर संदिग्ध अज्ञात वस्तु मिलने, दूसरे में आतंकवादियों द्वारा दो-तीन श्रद्धालुओं के अपहरण और तीसरे में सुभाष घाट पर विस्फोट की सूचना मानते हुए कार्रवाई की गई। सूचना मिलते ही सभी सुरक्षा इकाइयों को सक्रिय कर दिया गया।मालवीय घाट से सीसीआर तक संभाला मोर्चा…..
एसएसपी के निर्देशन में एसपी सिटी अभय प्रताप सिंह के नेतृत्व में पूरी ड्रिल संचालित की गई। हर की पैड़ी के मालवीय घाट, ब्रह्मकुंड, सुभाष घाट से लेकर सीसीआर क्षेत्र तक पुलिस और अन्य सुरक्षा एजेंसियों ने चंद मिनटों में मोर्चा संभाला।संभावित खतरे को देखते हुए गंगा घाटों को खाली कराया गया, इलाके को सील कर यातायात को नियंत्रित किया गया और डायवर्जन लागू किया गया। इसके साथ ही सर्च ऑपरेशन, घटनास्थल का निरीक्षण और संदिग्ध वस्तु को निष्क्रिय करने की प्रक्रिया को भी अभ्यास के तहत पूरा किया गया।रिस्पांस टाइम रहा संतोषजनक…..
पूरी मॉक ड्रिल के दौरान सुरक्षा एजेंसियों का रिस्पांस टाइम बेहतर पाया गया। सभी टीमें समय पर घटनास्थल पर पहुंचीं और समन्वित ढंग से कार्रवाई को अंजाम दिया गया।ये अधिकारी रहे मौजूद…..
अभ्यास के दौरान सीओ सिटी शिशुपाल सिंह नेगी, एसएसआई नंद किशोर गवाड़ी, हर की पैड़ी चौकी प्रभारी संजीत कंडारी, मायापुर चौकी प्रभारी आशीष नेगी, औद्योगिक क्षेत्र चौकी प्रभारी प्रदीप कुमार सहित अन्य पुलिस अधिकारी मौजूद रहे। एसएसपी प्रमेंद्र डोबाल ने बताया कि इस तरह की मॉक ड्रिल का मकसद किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत करना है, ताकि श्रद्धालुओं व पर्यटकों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।

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