पूर्व विधायक की कुर्सी गई, पर अकड़ बरकरार, शराब कारोबारियों से वसूल रहा गुंडा टैक्स, विवादित जमीनों पर भी नजर..
माफिया संस्कृति खड़ी करने को वेस्ट यूपी के कुख्यात से मिलाया हाथ, गुर्गे भी भुना रहे नाम..

पंचनामा-ब्यूरो
हरिद्वार: एक पूर्व विधायक की चुनाव में कुर्सी चली गई लेकिन अकड़ और घमंड नहीं गया। विधायकी से होने वाले कमाई की भरपाई के लिए पूर्व विधायक ने गुंडो की नई फौज तैयार की और यूपी की तर्ज पर माफिया संस्कृति को हरिद्वार में खड़ा कर डाला है।

पूर्व विधायक और गुर्गों ने सबसे पहले शराब कारोबारी को अपना निशाना बनाया। बताया जा रहा है कि कारोबारी को संरक्षण देने के नाम पर एक अच्छी खासी रकम गुंडा टैक्स के रूप में वसूली जा रही है।

डिमांड लगातार बढ़ने से शराब कारोबारी में धीरे-धीरे नाराजगी भी पनप रही है हालांकि मामला सत्ताधारी पार्टी के पूर्व विधायक से जुड़ा होने के चलते खुलकर अभी कुछ बोलने को तैयार नहीं है, लेकिन यही हाल रहा तो कारोबारी राज्य के अर्थव्यवस्था से जुड़े कारोबार से भी किनारा कर लेंगे।

हालांकि उन्हें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से न्याय की उम्मीद अभी भी लगी हुई है।
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“शहर से सटे ठेकों पर गिद्ध दृष्टि…..

शहर से सटे शराब के ठेकों पर एक पूर्व विधायक की गिद्धदृष्टि लगी हुई है। पूर्व विधायक अपने गुर्गों के साथ मिलकर शराब कारोबारियों से गुंडा टैक्स वसूलने में जुटा हुआ है। चर्चा हैकि पूर्व विधायक के गुर्गे वेस्ट यूपी के एक नामी कुख्यात का नाम भी भुना रहे हैं। उनका शराब कारोरियों से कहना है कि वह कुख्यात के गैंग से जुड़े है, लिहाजा गुंडा टैक्स अदा न करने पर गंभीर परिणाम भुगतना पड़ सकता है।
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“करोड़ वारे के न्यारे करने की तैयारी……

चर्चा है कि पूर्व विधायक अपने गुर्गों की मदद से वेस्ट यूपी से ताल्लुक रखने वाले कुख्यात से हाथ मिला चुका है और शराब कारोबार के बाद उनकी निगाहें विवादित भूमि के प्रकरणों पर गढ़ी हुई है। उन्हें भी सुलझाकर करोड़ों के वारे न्यारे करने की पूरी प्लानिंग तैयार कर ली गई है।

इधर, डरे सहमे शराब कारोबारी आने वाले समय में इस धंधे से मुंह मोड़ लेते है तो राज्य सरकार को ही उसका नुकसान होना तय है। गुंडा टैक्स वसूलने की गलत परंपरा राज्य के लिए भी पूरी तरह से ठीक नहीं है, ऐसे में भला यहां आकर कौन कारोबार करना चाहेगा।

जाहिर है कि माफिया संस्कृति हावी होने पर उसका नुकसान आमजन को सीधे तौर पर होगा। सत्तारुढ़ दल के कई नेता भी सीधे सीएम पुष्कर सिंह धामी के संपर्क में बने हुए है, वे यहां चल रही पूर्व विधायक की अवैध गतिविधियों से अवगत भी करा रहे हैं, जिससे की आमजन की सुरक्षा हो सकें।