पंच👊नामा-ब्यूरो
हरिद्वार: विधानसभा चुनाव लड़ने के लिए हरिद्वार सीट पर कांग्रेस के सात नेताओं ने दावा ठोका है। जबकि रानीपुर सीट से छह नेताओं ने दावेदारी जताई है। शहर सीट से महापौर अनिता शर्मा और उनके पति अशोक शर्मा भी मैदान में हैं। फिलहाल इन सभी दावेदारों को गुरुवार को देहरादून में होने वाली राहुल गांधी की रैली में अधिक से अधिक संख्या में कार्यकर्ता लेकर पहुंचने के लिए कहा गया है।
हरिद्वार विधानसभा सीट हमेशा की तरह इस बार भी जिले की हॉट सीट में शुमार है। चूंकि यहां कांग्रेस का मुकाबला कई बार के मंत्री और भाजपा के सिपहसालार मदन कौशिक से होना तय माना जा रहा है। हालांकि कांग्रेस में दावेदारों की कमी नहीं है। एक दावेदार ने तो बड़े संत नेता के सहारे सीधे पैराशूट लैंडिंग की है। लेकिन मजबूत स्थिति में केवल एक दो दावेदार ही नजर आते हैं। यह बात अलग है कि लोकल नेताओं में भी कोई खासा इत्तेफाक नहीं है। खासतौर पर सतपाल ब्रह्मचारी के खिलाफ कई नेता एकजुट नजर आ रहे हैं। इससे जुड़ा दूसरा रोचक तथ्य यह भी है कि हरिद्वार कांग्रेस का एक बड़ा धड़ा और आम कार्यकर्ता बाहरी दावेदार को हजम नहीं कर पा रहे हैं। ऐसे में देखना यह होगा कि कांग्रेस इस बार भी गुटबाजी और खींचातानी में घिरकर सीट भाजपा को देती है या पुरानी गलतियों से सबक लेकर खाता खोलने में कामयाब होगी। बहरहाल, शहर सीट पर पूर्व पालिकाध्यक्ष सतपाल ब्रह्मचारी, महापौर अनीता शर्मा, अशोक शर्मा, आलोक शर्मा, अनिल भास्कर, रवीश भटीजा, अरविंद शर्मा ने दावा जताया है।
जबकि रानीपुर से डा. संजय पालिवाल, राजवीर चौहान, महेश प्रताप राणा, तेलू राम प्रधान, जटाशंकर श्रीवास्तव और वरुण बालियान ने दावेदारी की है। इनके अलावा संजीव चौधरी और विमला पांडेय भी टिकट पर दावा जता रही हैं, लेकिन उनका आवेदन अभी तक कांग्रेस महानगर अध्यक्ष को नहीं मिला है। इसलिए अधिकृत दावेदार छह माने जा रहे हैं। इसी तरह हरिद्वार सीट से प्रदीप चौधरी भी दावा ठोक सकते हैं। कांग्रेस महानगर अध्यक्ष संजय अग्रवाल बताते हैं कि हाइकमान जिसका नाम तय करेंगे, उसे जिताने के लिए जी जान लगा दी जाएगी। कार्यकर्ताओं की मेहनत से इस बार अधिक से अधिक सीटें जीतकर पार्टी प्रदेश में सरकार बनाएगी।
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